Maa Aur Beta Sex Story in Hindi
(सौतेली मां और उसकी मां की चुदाई)
एक बार फिर से आपके लिए हिंदी सेक्सी स्टोरी लाया हूं जिसमें मेरे एक मित्र मुकेश ने अपनी सौतेली मां और नानी की गांव में चुदाई की मैंने नीचे उसकी कहानी का वर्णन उसी के शब्दों में किया है maa aur beta sex story in hindi
मैं मुकेश 18 साल का तंदरुस्त जवान हूं हम लोग उत्तर प्रदेश के एक गांव में रहते हैं जब मैं 10 साल का था तभी मेरी मां का देहान्त हो गया और पिता जी ने 22 साल की एक गरीब लड़की से दूसरी शादी कर ली हम लोग खेती बाड़ी करके अपना दिन गुजारते थे
मेरे ज्यादा पढ़ा लिखा ना होने की वजह से पिता जी ने एक छोटी सी किराने की दुकान खोल ली पिता जी खेती पर जाते थे और मैं या मेरी सौतेली मां दुकान पर बैठते थे जब मैं 19 साल का हुआ तो पिता जी का अचानक देहान्त हो गया अब घर में केवल मैं और मेरी सौतेली मां रहते थे मेरी सौतेली मां को मैं मां कहकर बुलाता था घर का इकलौता बेटा होने के कारण मेरी मां मुझे बहुत प्यार करती थी
मेरी मां थोड़ी मोटी और सावली हैं और उनकी उम्र 32 साल की है उसके चूतड़ काफी मोटे हैं जब वो चलती है तो उसके चूतड़ हिलते है उसके बूब्स भी बड़े बड़े है मैंने कई बार नहाते समय उनके बूब्स देखे है maa aur beta sex story in hindi
पिता जी के देहान्त के बाद हम मां बेटे ही घर में रहते थे और अकेलापन महसूस करते थे दुकान में रहने के कारण हम लोग खेती नहीं कर पाते थे इस लिए खेत को हमने किसी और को जुताई के लिए दे दिया था मैं सुबह सात बजे से दोपहर साढ़े बारह बजे तक दुकान में बैठता था और तीन बजे तक घर में रहता था
फिर दुकान खोलकर सात बजे तक दुकान बंद कर घर चला जाता था जब मुझे दुकान का माल खरीदने शहर जाना पड़ता तो मां दुकान पर बैठती थी एक दिन मां ने दोपहर में खाना खाते वक़्त मुझसे पूछा मुकेश बेटे अगर तुम्हे ऐतराज ना हो तो क्या मैं अपनी मां को यहा बुला लू क्योंकि वो भी गांव में अकेली रहती है उनके यहा आने से हमारा अकेलापन दूर हो जाएगा
मैंने कहा कोई बात नहीं मां आप नानी जी को यहा बुला लो अगले हफ्ते नानी जी हमारे घर पहुंच गईं वो करीब 46 साल की थी और उनके पति का देहान्त 2 साल पहले हुआ था नानी भी मोटी और सांवली थी और उनका बदन काफी सेक्सी था जाड़े का समय था इस लिए सुबह दुकान देर से खुलती थी और शाम को जल्दी ही बंद भी कर देता था maa aur beta sex story in hindi
घर पर मां और नानी दोनों साड़ी और ब्लाउज पहनती थीं और रात को सोते समय साड़ी खोल देती थी और केवल ब्लाउज और पेटीकोट पहन कर सोती थी मैं सोते समय केवल अंडरवियर और लुंगी पहन कर सोता था एक दिन सुबह मेरी आंख खुली तो देखा नानी मेरे कमरे में थी और मेरी लुंगी की तरफ आंखें फाड़ फाड़ कर देख रही थी मैंने झट से आंखे बंद कर ली ताकि वो समझे कि मैं अभी तक सो रहा हूं
मैंने महसूस किया कि मेरा लंड खड़ा होकर अंडरवियर से बाहर निकला था और लुंगी थोड़ी सरकी हुई थी इस लिए मेरा लंड जो 8 इंच लम्बा और काफी मोटा था नानी उसे आखें फाड़ फाड़ कर देख रही थी कुछ देर इसी तरह देखने के बाद वो कमरे से बाहर चली गई तब मैंने उठ कर मेरा मोटा लंड अंडरवियर के अन्दर किया और लुंगी ठीक करके पेशाब करने चला गया
नहा धोकर जब हम सब मिलकर नाश्ता कर रहे थे नानी बार बार मेरे लंड की तरफ देख रही थी शायद वो इस ताक में थी कि उसे मेरे लंड के दर्शन हो जाए जाड़े के दिनों में हम दुकान देर से खोलते थे इसलिए मैं बाहर आकर खेत पर बैठकर धूप का आनंद ले रहा था बाहर एक छोटा पार्टीशन था जिसमें हम लोग पेशाब वगैरह करते थे maa aur beta sex story in hindi
थोड़ी देर बाद मैंने देखा कि नानी आई और पेशाब करने चली गई वो पार्टीशन में जाकर अपनी साड़ी और पेटीकोट कमर तक ऊंची की और इस तरह बैठी की नानी की काली फांकों वाली झांटों से घिरी चूत मुझे साफ दिखाई दे रही थी नानी का सर नीचे था और मेरी नजर उनकी चूत पर थी पेशाब करने के बाद नानी करीब पांच मिनट उसी तरह बैठी रही और अपने दाहिने हाथ से चूत को रगड़ रही थी
यह सब देख कर मेरा लंड खड़ा हो गया और जब नानी उठी तो मैंने नजर घुमा ली मेरे पास से गुजरते हुए नानी ने पूछा आज दुकान नहीं खोलनी है क्या मैंने कहा बस नानी जी दस मिनट में जाकर दुकान खोलता हूं और मैं दुकान खोलने चला गया शाम को दुकान से जब घर आया तो नानी फिर से मेरे सामने पेशाब करने चली गई और सुबह की तरह पेशाब करके अपनी चूत रगड़ रही थी
थोड़ी देर बाद मैं बाहर घूमने निकल गया जाते वक़्त मां ने कहा बेटा जल्दी आ जाना जाड़े का समय है ना मैंने कहा ठीक है मां और निकल गया रास्ते में मेरे दिमाग में केवल नानी की चूत ही चूत घूम रही थी मैं कभी कभी एक पौवा देशी शराब पिया करता था मगर मुझे आदत नहीं थी महीने दो महीने में एक आध बार पी लिया करता था maa aur beta sex story in hindi
आज मेरे दिमाग में केवल चूत ही चूत घूम रही थी इस लिए मैंने देसी ठेके पे डेढ़ पौवा पी लिया और चुपचाप घर की ओर चल पड़ा मेरे पीने के बारे में मेरी मां जानती थी लेकिन कुछ बोलती नहीं थी क्योंकि मैं पी कर चुप चाप सो जाता था रात करीब नौ बजे हम सबने साथ में खाना खाया खाना खाने के बाद मां घर के काम में लग गई और मैं और नानी खेत पर बैठकर बातें करने लगे थोड़ी ही देर में मां भी आ गई और बातें करने लगी
नानी ने कहा चलो कमरे में चलते हैं वहीं बातें करेंगे क्योंकि बाहर ठण्ड लग रही है इस लिए हम सब कमरे में आ गए मां ने अपना और नानी का बिस्तर जमीन पर लगाया और हम सब नीचे बैठकर बातें करने लगे बातों बातों में नानी ने कहा मुकेश आज तू हमारे साथ ही सो जा
मां ने कहा यह यहा कहा सोयेगा और वैसे भी मुझे मर्दो के बीच सोने में शर्म आती है और नींद भी नहीं आती है नानी बोली बेटी क्या हुआ यह भी तो तेरे बेटे जैसा ही है जब कि तुम इसकी सौतेली मां हो लेकिन इसका कितना ध्यान रखती हो अगर बेटा साथ सो रहा है तो इसमें शर्म की क्या बात है खैर नानी की बात मां मान गई मैं मां और नानी के बीच में सो गया maa aur beta sex story in hindi
मेरी दाहिनी तरफ मां सो रही थी और बाई तरफ नानी शराब के नशे के कारण पता नहीं चला कि मुझे कब नींद आ गई करीब 1 बजे मुझे पेशाब लगी मैंने आंख खोली तो बगल से अआह उम्म्ह अहह हय याह की धीमी आवाज सुनाई दी मैंने महसूस किया कि यह तो मां की फुसफुसाहट थी इस लिए मैंने धीरे से मां की ओर देखा
मां को देखकर मेरी आखें खुली की खुली रह गई मां अपने पेटीकोट को कमर तक ऊपर करके बाएं हाथ से चूत रगड़ रही थी जबकि दाहिने हाथ की उंगलियां चूत के अन्दर बाहर कर रही थी इसी तरह करीब दस मिनट बाद वो पेटीकोट नीचे कर के सो गई शायद उसका पानी निकल गया होगा
थोड़ी देर बाद मैं उठ कर पेशाब करने चला गया और पेशाब करके वापिस आकर नानी और मां के बीच सो गया अब मेरी नजर बार बार मां पर थी और नींद नहीं आ रही थी इसलिए मैं नानी की तरफ करवट लेकर सो गया लेकिन फिर भी मुझे नींद नहीं आ रही थी क्योंकि नानी की ओर सोने के कारण अब मेरे दिमाग में नानी की चूत नाच रही थी maa aur beta sex story in hindi
मैं काफी कशमकश में था और इसी तरह करीब एक घंटा बीत गया अचानक मेरी नजर नानी के चूतड़ पर पड़ी मैंने देखा कि उनका पेटीकोट घुटनों से थोड़ा ऊपर उठा हुआ था अब मेरे शराबी दिमाग में शैतान जाग उठा मैं उठा और तेल की शीशी ले आया और नानी के पास मुंह करके खूब सारा तेल मेरे सुपारे पर और लंड के जड़ तक लगाया फिर धीरे धीरे से नानी का पेटीकोट चूतड़ के ऊपर कर दिया
नानी का मुंह दूसरी तरफ था इस लिए उनकी चूत के थोड़े दर्शन हो गए अब मैंने हिम्मत करके अपने लंड का सुपारा नानी की चूत के मुंह के पास रखा मैंने महसूस किया कि नानी अहिस्ता अहिस्ता अपनी गांड को मेरे लंड के पास कर रही है मैं समझ गया कि शायद नानी चुदने के मूड में है इस लिए मैंने भी अपनी कमर का धक्का उनकी चूत पर डाला जिससे मेरा सुपारा नानी की चूत में घुस गया और उनके मुंह से एक हल्की चीख निकली
हाय मुकेश आहिस्ता डाल ना तेरा लंड काफी बड़ा और मोटा है मैंने भी सालों से चूत चुदवाई नहीं है बेटा धीरे धीरे और आहिस्ता आहिस्ता करो कह कर नानी सीधी लेट गई और अपना पेटीकोट कमर तक ऊंचा कर दिया अब मैं नानी के ऊपर चढ़ कर धीरे धीरे अपना लंड घुसा रहा था जैसे जैसे लंड अन्दर जाता था वो उह्हह आह आह उफ्फ हहह हहाआआ अनन्न आआऐ की आवाज निकालने लगी maa aur beta sex story in hindi
मैं जब अपना पूरा लंड नानी की चूत में डाल चुका था तो मैंने नानी की आंखों में आंसू देखे मैंने पूछा क्या आप रो रही हैं उन्होंने कहा नहीं रे यह तो ख़ुशी के आंसू है आज कितने बरसों बाद मेरी चूत में लंड घुसा है फिर मैं अपना लंड अन्दर बाहर करने लगा और जोर जोर से नानी की चूत को चोद कर फाड़ने लगा फिर नानी भी अपने चूतड़ उठा उठा कर मेरा साथ दे रही थी और बीच बीच में कह रही थी और जोर से चोदो मेरे राजा वाकई तुम्हारा लंड इंसान का नहीं घोड़े या गधे का है
मैं करीब दस मिनट तक उनकी चूत में अपना मोटा तगड़ा हथियार अन्दर बाहर कर रहा था इसी बीच मैंने महसूस किया कि मां हमारी इस क्रिया को सोय सोय देख रही थी और मन ही मन में शायद सोच रही थी कि जब मेरी मां अपने नाती से चुदवा सकती है तो क्यों ना मैं भी गंगा में डुबकी लगा लू कब तक मैं अपने हाथों का इस्तेमाल करती रहूंगी आखिर यह मेरा सगा बेटा थोड़े ही है और उठकर कर उसने अपना पेटीकोट खोल दिया
फिर अपनी चूत नानी के मुंह पे रखकर रगड़ने लगी पहले तो नानी सकपका गई फिर समझ गई कि उसकी बेटी भी प्यासी है और अपने सौतेले बेटे का लंड खाना चाहती है फिर नानी मां की चूत में जीभ डालकर जीभ से चोदने लगी इसी दरमियान नानी झड़ चुकी थी और कहने लगी बस मुकेश अब सहा नहीं जाता है मैंने कहा बस नानी 5 मिनट और 5 मिनट बाद मेरा सारा वीर्य नानी की चूत में जा गिरा maa aur beta sex story in hindi
अब नानी थक कर सो गई मां ने कहा चलो पलंग पर चलते है वहीं तुम मुझे चोदना हम दोनों पलंग पर आ गए मेरा लंड अभी सिकुड़ा हुआ था इस लिए मां ने लंड को मुंह में लेकर चूसना शुरू किया और मैं भी 69 की अवस्था में उनकी चूत चाटने लगा हम दोनों यह क्रिया करीब 10 मिनट तक करते रहे और मेरा लंड तनकर विशालकाय हो गया
अब मैंने मां की गांड के नीचे तकिया लगाया और उनकी दोनों टांगों को मेरे कंधे पे रखकर लंड पेलने लगा लंड का सुपारा अन्दर जाते ही बोली हाय रे दैया कितना मोटा है रे तेरा लंड खूब मजा आएगा और फिर मैं मां को जोर जोर से चोदने लगा वो भी मेरा खूब साथ दे रही थी पूरे कमरे में फच फच की आवाज गूंज रही थी हम काफ़ी देर तक कई तरीकों में चुदाई करते रहे और बाद में मैंने मां की गांड भी मारी जिसमें मेरी मां को काफी मजा आया maa aur beta sex story in hindi
अब रोज मैं दोपहर में नानी को चोदता था क्योंकि उम्र होने के कारण कभी कभी साथ नहीं दे पाती थी और मां को मध्य रात्रि तक चोदता था क्योंकि मां बांझ थी इस लिए उन्हें कोई डर नहीं था और हम लोग खूब चुदाई करते थे